
बीते कुछ सालों में बच्चों को काफी ज्यादा मात्रा में फॉर्मूला मिल्क पिलाए जाने का चलन बढ़ा है. लेकिन क्या आप जानते हैं फॉर्मूला मिल्क सेहत के लिए कितना ज्यादा खतरनाक साबित हो सकता है. यह इतनी ज्यादा खतरनाक होते हैं कि इसे पीने के बाद बच्चों को गंभीर परेशानी हो सकती है.

कंज्यूमर रिपोर्ट के मुताबिक लगभग सभी फॉर्मूला मिल्क के सैंपल में पॉलीफ्लोरोएल्काइल(पीएफए)पाए जाते हैं. एक में बिस्फेनॉल ए (बीपीए) और एक्रिलामाइड तक मिला है.

फॉर्मूला मिल्क में भारी मात्रा में लेड (सीसा) और ऑर्सेनिक जैसी केमिकल मिले हैं. जोकि बच्चों की फेफड़े और ऑर्गन के लिए काफी ज्यादा खतरनाक है. इसके कारण कई सारी स्वास्थ्य से जुड़ी परेशानी हो सकती है.

ये आंकड़े दर्शाते हैं कि बच्चों का फॉर्मूला मिल्क काफी ज्यादा फूट दूध में सीसे की मात्रा ताजा गाय के दूध और मानव दूध से अधिक मिले हैं. फॉर्मूला मिल्क में सोया प्रोटीन, ताड़ के तेल, भारी धातुओं और कैरेजेनान मिले हैं. जिसके कारण फार्मूला मिल्क पीने से परहेज करना चाहिए.

41 फॉर्मूला मिल्क के सैंपल लिए गए . जिसमें से 34 लेड था. जोकि 1.2 पीपीबी से लेकर 4.2 पीपीबी तक मिले हैं. इसमें से काफी ज्यादा लेवल एनफ़ामिल न्यूट्रामिजेन के मिले हैं. किसी भी फॉर्मूला मिल्क में लेड का लेवल मानक से ज्यादा नहीं था.

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि दूध में कम मात्रा में लेड होना भी सेहत के लिए ठीक नहीं होता है. फॉर्मूला मिल्क वाली कंपनियों का कहना है कि उन्होंने कभी इसमें जानकर केमिकल मिलाएं नहीं है. यह पर्यावरण में रहते हैं और वह से फूड आइटम में चले जाते हैं.
Published at : 22 Mar 2025 08:24 PM (IST)